बुधवार, 24 फ़रवरी 2016

जय हो आरक्षण !घोड़ों में गधा बनने की होड़

कांग्रेस की आरक्षण सम्बन्धी कुटिल राजनीति के तर्क को देखकर पशु भी विलाप करने लगें हैं।

उन्हें चिंता हो गई  है कहीं वे भी आरक्षण की राजनीति के लपेटे में न आ जाए। घोड़े कहने लगें हैं हम गधे क्यों न हुए। शेर गीदड़ होना चाह रहा है। पूरा पशुजगत रणनीति बनाने लगा है। लोमड़ियाँ की बुद्धि वाली एंटोनियो मायनो की तरह वन्य लोमड़िया की भी सिट्टी पिट्टी गुम है। जंगल में हड़कम्प मचा हुआ है। शहर से जंगल की तरफ आने वाले तमाम रास्तों को वन्य पशुओं ने बंद कर दिया है। इसमें गजानन का विशेष योगदान रहा है।

जय हो आरक्षण !घोड़ों में गधा बनने की होड़ !

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